मुख पृष्ठ
श्रीमद् भगवद् गीता
श्री राम चरित मानस
आध्यात्मिक चिंतन
बृज चित्र-दर्शन
भजन-संगीत
प्रार्थना
समर्पण
आध्यात्मिक विचार - 12-01-2011
जब भगवद-प्राप्ति रुपी परम-सिद्धि के लिये जीवात्मा ज्ञान-मार्ग पर शरीर को साधन बनाता है तो अष्ट-सिद्धियों के लालच में फ़ंस जाता है तो घूम-फ़िरकर फ़िर से संसार में ही आ गिरता है, ज्ञान-मार्ग में यही सबसे बडी बाधा है।
नई पोस्ट
पुरानी पोस्ट
मुख्यपृष्ठ