बुद्धि से संसार को जाना जाता है और मन से आत्मा को जाना जाता है।
जब व्यक्ति बुद्धि से संसार को जानने की कौशिश करता है तब वह अज्ञानतावश सासारिक सुख-दुख भोगने लगता है।
जब व्यक्ति मन से आत्मा को जानने की कौशिश करता है तभी वह आत्मिक-आनन्द प्राप्त करने लगता है।